सत्ता पक्ष पर करम बाकी पर सितम सीएमओ की छापें मार कार्रवाई
पत्रकार विशाल भारद्वाज को ऑफिस में बुलाकर क्या जान से मरवा देगे
विशाल भारद्वाज
लखीमपुर खीरी । तीन दिनों में सीएमओ खीरी ने 15 हॉस्पिटल सीज किए लेकिन एक हॉस्पिटल था बीजेपी के नेता का उसमे वो कैसे बचा चर्चा का विषय है बताते चलें लखीमपुर खीरी जिले में सीएमओ द्वारा अवैध हॉस्पिटल पर चल रहे अभियान के तहत तीन दिन में 15 हॉस्पिटल सीज किए लेकिन अफसोस की बात 16 वा हॉस्पिटल सीज करने मे दिक्कतें आई 16 वा हॉस्पिटल निकला बीजेपी के नेता का जिस फर्जी हॉस्पिटल का नाम नारायण हॉस्पिटल के नाम से जग जाहिर है आखिर ऐसा क्या हुआ जो सीएमओ खीरी ने प्रेस नोट में उसका नाम नही दिया जबकि वो हॉस्पिटल अवैध चल रहा था
जिस संबंध में सीएमओ खीरी से 10 बजकर 6 मिनट पर दोबारा जानकारी चाही गई तो उन्होंने अपशब्द तरीके से कहा आप ऑफिस में आइए आप को सब पता चल जाएगा क्या पत्रकार को धमकी दे रहे हैं क्या सच छापने वाले को सीएमओ साहब जान से मरवा देगे साथ ही सूत्रों द्वारा मिली जानकारी मे बताया गया कि सीएमओ के छापा डालने से पहले कुछ पत्रकार भी अपने व्हाट्सएप नंबर से हॉस्पिटल के संचालक पर खबर बनाकर रकम ऐठने का छापा डाल रहे हैं रकम नहीं मिली तो वही खबर ग्रुप में चलेगी रकम मिलने के बाद खबर बंद पत्रकारों ने भी कमाई का बहुत अच्छा है जरिया निकाल लिया है और खुली धमकी दे रहे हैं किसी भी हालत में हास्पिटल चलने नहीं देंगे साहब आनंद टाकिज के पास एक हॉस्पिटल संचालक को पत्रकारों ने पूरी तरीके से तंग किया कि वह आत्महत्या के लिए मजबूर हो गया उसने अपना हॉस्पिटल बंद कर दिया उसके बाद भी पत्रकार मरीजों से वीडियो बनाकर रिश्वत लेकर केस बिगाड़ देने आदि तरह की धमकी देने पर तुले हुए हैं सीएमओ की इस कार्रवाई से पत्रकारों की लॉटरी लग गई है जो जांच का विषय है लग रहा है पत्रकार रिश्वत लेकर हॉस्पिटल को सीज करने से रोक लेंगे हॉस्पिटल संचालकों को खुद सोचना चाहिए कि जबरदस्त छापेमारी चल रही है अगर आपका हॉस्पिटल अवैध है तो आप उसको खुद बंद कर दें वरना पत्रकार आपको किसी लायक नहीं छोड़ेंगे क्योंकि सीएमओ दलाल पत्रकारों के साथ भी है कुछ पत्रकार चल रहे हैं वह जहां पर सेटिंग है उनका नाम ना बताकर जहां पर रकम नहीं मिल रही है वहां का पता बताकर सीज कराने में अहम भूमिका निभा रहे हैं।