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कनाडा में राम मंदिर पर लिखे भारत विरोधी नारे, एक साल में चौथी ऐसी घटना, अफसरों ने की कार्रवाई की मांग

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कनाडा में राम मंदिर पर लिखे भारत विरोधी नारे, एक साल में चौथी ऐसी घटना, अफसरों ने की कार्रवाई की मांग

कनाडा: महावाणिज्य दूतावास ने बयान जारी कर कहा कि ‘हम मिसिसॉगा में राम मंदिर को विरूपित करने और उस पर भारत विरोधी नारे लिखने की निंदा करते हैं। हमने कनाडा की सरकार से मामले की जांच और दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की मांग की है’।

कनाडा के मिसिसॉगा में एक हिंदू मंदिर को विरूपित करने और उस पर भारत विरोधी नारे लिखने का मामला सामने आया है। घटना मंगलवार की है, जहां मिसिसॉगा के राम मंदिर में यह घटना हुई। इस पर कनाडा को टोरंटो में स्थित भारत के महावाणिज्य दूतावास ने इसकी निंदा की है और कनाडा सरकार से दोषियों के खिलाफ कड़ी सजा की मांग की है। महावाणिज्य दूतावास ने बयान जारी कर कहा कि ‘हम मिसिसॉगा में राम मंदिर को विरूपित करने और उस पर भारत विरोधी नारे लिखने की निंदा करते हैं। हमने कनाडा की सरकार से मामले की जांच और दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की मांग की है’।

एक साल में चौथी ऐसी घटना
कनाडा में हिंदू मंदिर को निशाना बनाने की यह पहली घटना नहीं है। इससे पहले जनवरी में के ब्राम्पटन में स्थित हिंदू मंदिर पर भी भारत विरोधी नारे लिखने की घटना हुई थी। जिसे लेकर हिंदू समुदाय ने कड़ी नाराजगी जाहिर की थी। महावाणिज्य दूतावास ने इस पर भी नाराजगी जाहिर करते हुए कहा था कि ब्राम्पटन के गौरी शंकर मंदिर को विरूपित करने से कनाडा में रहने वाले हिंदू समुदाय की भावनाएं आहत हुई हैं। महावाणिज्य दूतावास ने कनाडा की सरकार के सामने इस मामले को उठाया था।

ब्राम्पटन के मेयर पैट्रिक ब्राउन ने भी इस घटना की निंदा की थी और कहा था कि ऐसे घृणास्पद काम की हमारे शहर और हमारे देश में कोई जगह नहीं है। मेयर ने शहर के पुलिस चीफ के साथ भी घटना पर चर्चा की थी।

सितंबर 2022 को कनाडा के स्वामीनारायण मंदिर को भी विरूपित करने और भारत विरोधी नारे लिखने की घटना हुई थी। इस घटना में खालिस्तान समर्थकों पर आरोप लगे थे। वहीं जुलाई 2022 में भी ग्रेटर टोरंटो इलाके में रिचमंड हिल नामक जगह पर हिंदू मंदिर में स्थापित महात्मा गांधी की प्रतिमा को तोड़ दिया गया था। इस घटना में भी आरोप खालिस्तान समर्थकों पर लगे थे।

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